
शहर के अधिकतर हिस्से में 50 साल पुरानी सीवरेज लाइन दबी हुई है, जिसके चलते आए दिन सीवरेज ब्लाॅक होने की समस्या बनी रहती है। सरकार द्वारा दो अलग-अलग विभागों के जरिए शहर में बड़ी सीवरेज लाइन डलवाई जा रही है, लेकिन दो साल बाद भी इसका फायदा शहर की जनता को नहीं मिल सका है। इतना जरूर है कि अगले साल तक बिछाई गई नई सीवरेज लाइन चालू हो जाए, लेकिन तब तक लोगों को समस्याओं से दो-चार होना पड़ रहा है।
जींद शहर में अटल मिशन फॉर रेजुवेनशन एंड अर्बन ट्रांसफॉर्मेशन (अमरुत योजना) के तहत सीवरेज लाइन भी बिछाई जा रही है। कुल 10440 मीटर लंबी लाइन शहर में डलनी है। इसके अलावा 2100 मीटर राइजिंग मेन लाइन डाली जानी है। इसमें से अब तक 8957 मीटर लाइन डाली जा चुकी है। नवंबर 2018 में सीवरेज लाइन डालने का काम शुरू हुआ था, लेकिन अब तक पूरा नहीं हो सका है। फिलहाल नरवाना रोड पर सीवरेज लाइन डाली जानी है। पटियाला चौक से नरवाना रोड बाईपास तक यह लाइन डलेगी, जो लगभग 2600 मीटर है।
इसके अलावा जन स्वास्थ्य विभाग द्वारा शहर के रोहतक रोड और नरवाना रोड एसटीपी से वाया बाईपास से गोहाना रोड तक सीवरेज लाइन डाल रहा है। रोहतक रोड पर काम लगभग पूरा हो चुका है, लेकिन एसटीपी से गोहाना रोड बाईपास का काम अधूरा है। इसे पूरा होने में लगभग चार से पांच माह लग सकते हैं। इस पर लगभग 20 करोड़ रुपए की राशि खर्च की जा रही है। अगले साल तक ही लोगों को समस्या के समाधान होने की उम्मीद है।
नरवाना रोड पर पोल शिफ्टिंग का काम बाकी
पटियाला चौक से नरवाना रोड बाईपास तक नगर परिषद द्वारा यहां पाइप रखवा दिए गए हैं, लेकिन अब तक इस रोड पर लगे बिजली के पोल शिफ्ट नहीं हो सके हैं। इसके लिए बिजली निगम से बीटी बिल मांगा गया है। बीटी बिल की पेमेंट होने के बाद ही पोल शिफ्टिंग का काम शुरू हो सकेगा।
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