
निकाय चुनाव के प्रचार को लेकर प्रदेश कांग्रेस की गुटबाजी फिर सामने आई है। पूर्व सीएम भूपेंद्र हुड्डा ने पंचकूला और अम्बाला में कांग्रेस की हार पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने कहा कि अम्बाला और पंचकूला में प्रचार के लिए नहीं बुलाया, यदि बुलाते तो जरूर आता। सोनीपत में परिणाम बहुत अच्छा रहा है। दूसरी जगह भी बेहतर हो सकता था, लेकिन किसी ने उनसे संपर्क नहीं किया।
दूसरी ओर अम्बाला और पंचकूला में कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष कुमारी शैलजा ने कहा कि स्थानीय निकाय चुनावों में प्रचार के लिए सबका आह्वान किया था। कई नेता इन चुनावों में कांग्रेस के प्रत्याशियों के लिए प्रचार करके गए हैं। पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव रणदीप सुरजेवाला, पूर्व मंत्री पवन बंसल और पूर्व विधायक अशोक अरोड़ा भी प्रचार करने आए हैं। बता दें कि कांग्रेस पंचकूला व अम्बाला मेयर पद से हार गई है। शैलजा ने कहा कि कांग्रेस पहली बार सिंबल पर स्थानीय निकाय चुनाव लड़ी है। इनमें ग्रास रूट को पार्टी को एक्टिव करने का मौका मिल गया।
हुड्डा बोले- आंदोलन के कारण निकाय चुनाव में हारी भाजपा
नगर निकाय चुनाव के परिणाम में भाजपा की हार का कारण कांग्रेस ने किसान आंदोलन बताया है। पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि किसान आंदोलन की वजह से भाजपा चुनाव हार गई है। अब भाजपा का प्रदेश में कोई जनाधार नहीं बचा है। केंद्र और प्रदेश में भाजपा की सरकार होने के बावजूद इन चुनावों में भाजपा की हार हुई है। उन्होंने कहा कि किसानों की बात न मानने के कारण भाजपा अब शहरों में भी अपना जनाधार हो चुकी है। उन्होंने कहा कि वे राज्यपाल से कई बार विधानसभा का विशेष सत्र बुलाने की मांग कर चुके हैं, लेकिन सुनवाई नहीं हो रही।
धनखड़ बोले- निकाय चुनाव में हमारी परफॉरमेंस ठीक रही
भाजपा ने नगर निगम और नगर परिषद में जीत के अलावा अन्य स्थानों पर हुए चुनावों में पार्टी की परफॉरमेंस को बेहतर बताया है। भाजपा प्रदेशाध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ के कहा कि 1 निगम व 1 नगर परिषद पर भाजपा ने जीत दर्ज की है, जबकि अम्बाला और सोनीपत में भाजपा की परफारमेंस सबसे अच्छी है। एक मेयर और तीन नगर पालिका चुनावों में अन्य दलों और निर्दलीयों ने जीत दर्ज की है। उनका कहना है कि इन चुनावों में किसान आंदोलन की बजाए स्थानीय मुद्दे अधिक महत्वपूर्ण थे।
आंदोलन और चुनाव पर चर्चा को लेकर कांग्रेस विधायकों की बैठक आज
कांग्रेसी पार्टी ने गुरुवार को चंडीगढ़ में सीएलपी की बैठक बुलाई है, इसमें किसान आंदोलन के अलावा कई अन्य मुद्दाें पर बात हाेगी। कांग्रेस पार्टी पहले ही राज्यपाल से मांग कर चुकी है कि किसानों के मुद्दे पर विधानसभा का विशेष सत्र बुलाया जाए। अम्बाला और पंचकूला नगर निगम चुनावों में प्रचार को लेकर मतभेद नजर आए हैं। इस पर चर्चा हो सकती है। सोनीपत में जीतने के बाद कांग्रेस के नेता और हमलावर हो गए हैं।
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